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मजबूत लोकपाल के मुद्दे पर 12 दिन के अनशन के
बाद अपनी पहली सार्वजनिक सभा में अपने गांव रालेगढ़ सिद्धी में अन्ना हजारे
ने आज संप्रग सरकार पर मजबूत लोकपाल लाने के प्रति ‘गंभीर नहीं होने’ का
आरोप लगाया। हजारे ने कहा कि सत्ताधारी गठबंधन में ‘शातिर’ लोग और ‘शरारती’
गृह मंत्री शामिल हैं ।
दिल्ली में 28 अगस्त को अपना अनशन तोड़ने के बाद हजारे ने आज
लोगों से आग्रह किया कि वे हर स्तर पर भ्रष्टाचार को खत्म करने के लिए
सरकार को ‘बार-बार झटके’ दें। हजारे ने अपने हाल के अनशन के संदर्भ में
कहा, ‘‘भारत को भ्रष्टाचार से मुक्त बनाने के लिए हमें बार-बार ऐसे झटके
देने होंगे ।’’
दिल्ली के पास के एक अस्पताल में उपचार के बाद बुधवार को अपने घर पहुंचे
हजारे का यहां गर्मजोशी से स्वागत किया गया । हजारे के ग्रामीणों को
संबोधित करने के दौरान यहां बहुत से लोग मौजूद थे । हजारे ने अपने गांव की
ग्राम सभा को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘यह सरकार लबाड़ :शातिर: लोगों की भीड़
से भरी है । वे मुझे अनशन करने की अनुमति नहीं देना चाहते थे और उन्होंने
दिल्ली के सभी मैदानों में निषेधाज्ञा लगा दी । जब उन्होंने जे पी पार्क के
लिए अनुमति दी, तो उसमें भी बहुत सी शर्तें लगा दीं ।’’ उन्होंने कहा कि
उनके हाल के आंदोलन की सफलता ने साबित कर दिया है कि सरकार को लोगों की
इच्छा के आगे झुकना पड़ा ।
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