रालेगन सिद्धि। अन्ना के गांव रालेगन
सिद्धि में हुई दो दिन की बैठक में तय किया गया है कि अगले दो ढाई महीने
के भीतर अन्ना हजारे खासकर ऐसे राज्यों की यात्रा करेंगे जहां विधानसभा
चुनाव होने हैं।
दरअसल
टीम अन्ना अब सरकार से आर या पार की लड़ाई के मूड में है। संसद के
शीतकालीन सत्र से पहले टीम अन्ना स्टैंडिंग कमेटी के सभी सदस्यों और
राजनीतिक दलों के बड़े नेताओं के चुनाव क्षेत्रों में राय शुमारी करवाएगी।
जिसमें जनता से ये सवाल पूछा जाएगा कि क्या वो उस उम्मीदवार को वोट देंगे
जो जनलोकपाल बिल का विरोध कर रहा है।
साथ
ही अन्ना ने अपनी टीम के साथ उन सभी राज्यों के दौरे पर जाने का फैसला
किया है जहां आने वाले महीनों में चुनाव होने हैं। टीम अन्ना के मुताबिक
यात्रा के दौरान लोगों को ये बताया जाएगा कि किस राजनीतिक दल का जनलोकपाल
बिल पर क्या रुख है।
सरकार
से उसके काम-काज में पारदर्शिता की मांग करने वाली टीम अन्ना ने खुद भी
पारदर्शी दिखने का फैसला किया है। इसके तहत 1 अप्रैल से 30 सितंबर तक
आंदोलन के दौरान हुए खर्चे का विशेष ऑडिट करवाने का फैसला लिया गया है। साथ
ही कोर कमेटी के सभी सदस्य 15 अक्टूबर तक अपनी संपत्ति का ब्यौरा इंडिया
अगेन्स करप्शन की बेवसाइट पर डाल देंगे। अगर टीम अन्ना के खिलाफ आम आदमी को
किसी तरह की शिकायत है तो उसकी जांच तीन रिटायर्ड जजों की कमेटी करेगी।
इसी
के साथ टीम अन्ना की दो दिनों की बैठक खत्म हो गई। शनिवार को अन्ना हजारे
ने फैसला किया था कि वो राइट टू रिकॉल के मसले पर पीएम को पत्र लिखकर उनकी
राय मांगेंगे। जाहिर है अन्ना हजारे ने रामलीला से अपना अनशन खत्म करने के
वक्त अगली लड़ाई का बिगुल फूंकते हुए राइट टू रिकॉल को आंदोलन का अगला
हथियार बनाने की घोषणा की थी।
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